ठेका बड़ा या खू’न? मुखिया मां ने बड़े बेटे को सौंपा कार्यभार तो छोटे ने दे दी 5 लाख की सुपारी
मुखिया के पावर और ग्लैमर का ऐसा चस्का लगा कि भाई ने भाई की हत्या की प्लानिंग कर डाली। गनीमत रही कि पुलिस के प्रयास से भेद खुल गया और धर्मेंद्र उर्फ धारो यादव की जान बच गई। मामला बिहार के जमुई जिले के भछियार मोहल्ले से जुड़ा हुआ है। सोनो प्रखंड के थमहन पंचायत की निर्वाचित मुखिया गायत्री देवी के पुत्र और प्रतिनिधि धर्मेंद्र उर्फ धारो यादव जवाहर स्कूल से सटे हुए पूर्व मोहल्ले में रहते हैं।
गुप्त सूचना के आधार पर पुलिस ने की कार्रवाई
रविवार की शाम टाउन थाना की पुलिस ने गुप्त सूचना के आधार पर गरसंडा गांव के पप्पू मंडल और भछियार के दिवेश मंडल को पकड़ लिया। दोनों के पास से पुलिस ने हथियार बरामद किया। पुलिस को इस बात की सूचना थी कि दोनों ने किसी व्यक्ति की हत्या की साजिश रची है और रविवार को वारदात को अंजाम देने वाले हैं। गिरफ्तारी के बाद कड़ाई से पूछताछ में अपराधियों ने कई राज उगल दिया। मामले का खुलासा होने के बाद पुलिस नेमुखिया प्रतिनिधि के सगे भाई उपेंद्र यादव और रानहन के रॉकी ठाकुर को गिरफ्तारी कर लिया।

5 लाख की दी थी सुपारी
उपेंद्र यादव ने पुलिस को बताया कि उसकी मां गायत्री देवी मुखिया है। बड़ा भाई धर्मेंद्र यादव प्रतिनिधि है। पुलिस की पूछताछ में यह बात सामने आई कि उपेंद्र यादव ने अपने भाई धर्मेंद्र यादव की हत्या कराने के लिए 5 लाख रुपये की सुपारी दी थी। 2 लाख का एडवांस पेमेंट हो चुका था। 3 लाख हत्या करने के बाद देना था। पुलिस की सक्रियता से बड़ी घटना टल गई और एक युवक की जान बच गई।

मुखिया प्रतिनिधि के ग्लैमर का लगा था चस्का
मुखिया प्रतिनिधि बनने के चक्कर में उपेंद्र यादव ने खून के रिश्ते का कत्ल करने का प्लान बनाया था। उपेंद्र यादव अपनी मुखिया मां का प्रतिनिधि बनना चाहता था। जिसके कारण वह अपने भाई को रास्ते से हटाने में लगा हुआ था। मुखिया प्रतिनिधि धर्मेंद्र यादव ने बताया कि मां के मुखिया बनने के बाद कुछ विकास योजनाओं को कराने की जिम्मेदारी उपेंद्र को भी दी गई थी। लेकिन वह खुद प्रतिनिधि बनना चाहता था। जिसके कारण उसने ऐसी साजिश रची थी।







