शिक्षा विभाग के स्टाॅल पर छात्राओं ने ‘बिना माचिस की आग’ एवं ‘बिना हवा का गुब्बारा’ फुलाकर CM को दिखाया
व्हाट्सएप पर हमसे जुड़े
समस्तीपुर :- समाधान यात्रा के दौरान भगवानपुर देसुआ में लगे स्टाल निरीक्षण के दौरान मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने सबसे अधिक समय शिक्षा विभाग के स्टाॅल पर बिताया। जहां विद्यालय की छात्राओं ने विज्ञान प्रदर्शनी के माध्यम से बिना माचिस की आग एवं बिना हवा का गुब्बारा फुलाकर मुख्यमंत्री के सामने प्रदर्शन किया। तत्पश्चात सर्व शिक्षा अभियान डीपीओ मानवेंद्र कुमार राय ने शिक्षा विभाग की विगत एक वर्ष की उपलब्धियों के बारे में भी बताया गया तथा शिक्षा विभाग की ओर से प्रकाशित अंजोर पत्रिका मुख्यमंत्री को सौंपा।
आंगनबाड़ी केंद्र के बच्चों ने गुलाब का फूल देते हुए कहा- आप बड़े अच्छे हैं…
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का समाधान यात्रा। स्थान- जिला मुख्यालय से करीब 18 किलोमीटर दूर भगवानपुर देसुआ गांव स्थित कालीमंदिर के निकट आंगनबाड़ी केंद्र परिसर। विभिन्न योजनाओं के शिलान्यास व उद्घाटन के बाद जैसे ही मुख्यमंत्री आंगनबाड़ी केंद्र के अंदर प्रवेश करते हैं। केंद्र के छोटे- छोटे बच्चे मुख्यमंत्री को लाल गुलाब देते हुए कहते हैं आप बड़े अच्छे हैं। जिस पर सीएम ने बच्चों का गाल थपथपाते हुए कहते हैं मन लगाकर पढ़ाे तो अफसर बनोगे। सीएम ने केंद्र परिसर में बच्चों द्वारा बाल विवाह से मुक्ति को लेकर बनाई गई रंगोली को देख कर काफी खुश हुए। वहीं उन्होंने केंद्र में पकी व्यंजन का भी जायजा लिया। केंद्र की सेविका व सहायिका को बच्चों पर विशेष नजर बनाए रखने की हिदायत दी। मौके पर सीएम को लोगों ने एक पेंटिंग भी भेंट की। विभिन्न विभागों के लगाए गए स्टालों का एक-एक कर जायजा लिया।
भगवानपुर देसुआ में स्ट्राबेरी और ओल की खेती देखने पहुंचे मुख्यमंत्री :
अनुसूचित जाति अत्याचार अधिनियम के तहत उजियारपुर मुरियारो, सैदपुर जाहिद गांव के दो लाभुकों को डेढ़ लाख की राशि का चेक सीएम ने दिया। इनमें मुरियारो गांव निवासी मटरू पासवान की पत्नी प्रमिला देवी को 1 लाख रुपए का चेक दिया गया। जबकि सैदपुर के श्रवण महतो की पत्नी पूजा देवी को 50 हजार रुपए का चेक दिया। वहीं इसके अलावा उन्होंने जीविका समूह को भी प्रोत्साहन राशि के रूप में चेक दिया। भगवानपुर देसुआ के किसानों द्वारा किए गए स्ट्राबेरी के अलावा ओल की खेती भी देखने मुख्यमंत्री पहुंचे। सीएम ने किसानों से खेती के बारे में जानकारी ली। कृषि विभाग के अधिकारियों को इस तरह की खेती को बढ़ावा देने की बात कही।