समस्तीपुर में चिकित्सकों की हड़ताल से त्राहिमाम, बिना इलाज कराएं ही लौट रहे मरीज, इमरजेंसी सेवा जारी
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समस्तीपुर :- राज्य भर के सरकारी अस्पतालों के डॉक्टर्स आज हड़ताल पर है। बायोमैट्रिक अटेंडेंस का विरोध करने के साथ-साथ डॉक्टर्स राज्य सरकार से 17 सूत्री मांग भी कर रहे हैं। वहीं सरकारी स्वास्थ्य केंद्रों पर ओपीडी सेवा बंद रहने से दूर-दराज से आए मरीजों को काफी परेशानी हो रही है। सरकारी अस्पतालों में जो मरीज पहले से भर्ती हैं उन मरीजों का इलाज भी गुरुवार को चिकित्सकों के संकेतिक हड़ताल की वजह से प्रभावित हो रहा है।
समस्तीपुर सदर अस्पताल में भी मरीज व उनके परिजन भटकते दिखे। सदर अस्पताल के ओपीडी में चिकित्सकों ने मरीजों का इलाज नहीं किया। इस वजह से मरीजों को बिना इलाज कराए ही वापस लौटना पड़ा। ओपीडी सेवा में इलाज कराने के लिए पहुंचे मरीजों का पंजीयन काउंटर पर पूर्जा भी नहीं काटा गया।
मरीज मेडिसिन, सर्जरी, डेंटल, टीबी, ईएनटी, महिला विभाग एवं सर्जरी विभाग के पास खड़े रहे और इधर-उधर भटकते दिखे। हालांकि इमरजेंसी सेवा जारी है। विभूतिपुर प्रखंड के चरचाही भरपुरा से अपनी 15 वर्षीय बेटी रिंकू को गोद में लेकर पहुचें ननकी सिंह इधर-उधर भटकते रहे। जानकारी ना होने के कारण ओपीडी में वह घंटो बैठे रहे इसके बाद उन्हें कुछ पत्रकारों द्वारा जानकारी दी गई की इमरजेंसी सेवा जारी है जिसके बाद वहां उसे भर्ती कराया गया।
आपको बता दें कि हड़ताल से अनभिज्ञ सुदूर ग्रामीण क्षेत्र के मरीजों को अस्पताल से बिना उपचार कराए वापस लौटना पड़ रहा है। इस हड़ताल से नीम हकीम व झोला छाप चिकित्सकों को फायदा हो सकता है। समस्तीपुर जिले के सभी पीएचसी, सीएचसी व सदर अस्पताल की ओपीडी में कामकाज ठप है। मरीजो की समस्या बढ़ गई है। 17 सूत्री मांगों को लेकर चिकित्सक आंदोलित हैं।