संतोष मांझी के कार्यकाल की जांच वाले मुद्दे पर जीतन राम मांझी ने रत्नेश सदा पर किया पलटवार:बोले- वो निकाले मेरी कुंडली, मुझे भी पता चले
बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री सह हम पार्टी के संरक्षक जीतन राम मांझी ने मंत्री रत्नेश सदा पर पलटवार किया है। वो मेरा कुंडली निकालने की बात कर रहे हैं। हमें भी पता चले कि उसमें क्या है।
कुछ दिन पहले रत्नेश सदा ने पूर्व मुख्यमंत्री मांझी और उनके बेटे संतोष सुमन की कुंडली निकालने की बात कही थी। उन्होंने कहा था कि मांझी ने एक भी काम किया हो तो बताएं। सदा ने कहा था कि संतोष सुमन की एक-एक फाइल की जांच की जाएगी। उनकी कुंडली निकाली जाएगी।
जीतन राम मांझी दो दिवसीय दौरे पर शनिवार को दिल्ली रवाना हो गए हैं। दिल्ली में वे मगही अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन में भाग लेंगे। एयरपोर्ट पर मांझी ने मीडिया से बात की। इस दौरान बिहार सरकार के मंत्री रत्नेश सदा के कुंडली निकालने वाली बात का जवाब दिया।
मांझी ने कहा कि उनको मेरा साधुवाद। कुंडली निकालेंगे तो हम भी समझेंगे कि हम लोगों के कुंडली में क्या रखा है। मांझी ने बताया कि हम मगही अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन में भाग लेने जा रहे हैं। हम मगही क्षेत्र से आते हैं। मगही में ही अपने क्षेत्र में भाषण देते हैं। मगही की बेहतरी के लिए ये आयोजन हर साल होता है।
केके पाठक की तारीफ की
पूर्व मुख्यमंत्री ने शिक्षा मंत्री और केके पाठक के बीच चल रहे विवाद पर भी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने केके पाठक की तारीफ करते हुए कहा कि केके पाठक ने शिक्षा विभाग में चल रही गड़बड़ी को ठीक करने का बीड़ा उठाया है। वह सराहनीय है। अगर इस तरह का कदम नहीं उठाया जाएगा तो शिक्षा का स्तर गिर जाएगा। शहर के बच्चे तो पढ़ लेते है, लेकिन ग्रामीण क्षेत्र के बच्चे अच्छी शिक्षा से वंचित रह जाते हैं।
इस दौरान मांझी दिल्ली जाने पर बीजेपी के नेताओं से बात करने की बात वो टाल गए। उन्होंने कहा कि वहां हम सिर्फ मगही के लिए जा रहें है।
नीतीश के राज में अफसरशाही हावी
महागठबंधन में चल रहे खटपट के सवाल पर मांझी ने कहा कि परिवार में बहुत लोग रहते है तो थोड़ी खटपट होती है, लेकिन अब हम NDA में आ गए हैं तो चाहेंगे कि महागठबंधन में खटपट हो..महागठबंधन टूट जाए।
बिहार में अफसरशाही हावी होने की बात पर उन्होंने कहा कि बिहार में आज से नहीं बहुत पहले से अफसरशाही हावी है। मैं तो बहुत पहले से ये बात कह रहा हूं।
पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि जब से नीतीश कुमार सत्ता में आए हैं, तब से ऑफिसरों के बल पर ही राज्य चलाते हैं। जनता के लाभ के कामों पर बहुत कम ध्यान देते हैं। नीतीश जी की ना बालू नीति ठीक है ना ही शराब नीति ठीक है।
उन्होंने कहा कि किसानों को भी काफी नुकसान हो रहा है। यहां के अधिकारी शराब और बालू से करोड़ों रुपए उगाही कर चुके हैं। इससे ये साबित होता है कि यहां अफसरशाही हावी है।